नई दिल्ली । बीते कुछ दिनों में देश में सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म फेसबुक, व्हाट्सएप, ट्विटर ऐप पर प्रतिबंध लगने की खबरें खूब चर्चा में है। तमाम इंस्टेंट मैसेजिंग व मीडिया प्लेटफॉर्म जैसे Facebook, WhatsApp, Twitter, Instagram के करोड़ों यूजर्स हैं और सभी में इस बात को लेकर बेचैनी है कि आखिर देश में इन प्लेटफॉर्म पर प्रतिबंध लग गया तो क्या होगा। दरअसल 25 मई को केंद्र सरकार की इंटरनेट मीडिया की नई गाइडलाइन को मंजूरी देने की डेडलाइन समाप्त हो चुकी है। ऐसे में अब केंद्र सरकार की नई इंटरमीडियरी गाइडलाइन को लागू नहीं करने वाले इंटरनेट मीडिया प्लेटफॉर्म को भारत में बैन लगाया जा सकता है।
Facebook और Twitter ने दिया ये जवाब
दरअसल केंद्र सरकार की इंटरनेट मीडिया गाइडलाइन की डेडलाइन खत्म होने से पहले फेसबुक कहा है कि वह केंद्र सरकार की नई गाइडलाइन का सम्मान करती है और इसे लागू करने को लेकर लगातार काम कर रही है। फेसबुक ने यह भी बताया है कि नई गाइडलाइन को लागू करने को लेकर उसकी सरकार के आला अधिकारियों के साथ लगातार बात चल रही है। वहीं दूसरी ओर माइक्रोब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म ट्विटर (Twitter) ने केंद्र की तरफ से नई गाइडलाइन को लागू करने के लिए 6 महीने का समय मांग लिया है। इधर भारत का ट्विटर कहे जाने वाले माइक्रोब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म Koo App ने केंद्र सरकार की गाइडलाइन को तत्काल लागू कर भी दिया है।
वहीं WhatsApp ने केंद्र सरकार के हालिया IT नियमों को चुनौती देते हुए दिल्ली हाईकोर्ट का रुख किया है। इस नए नियम में WhatsApp पर भेजे गए विशेष संदेशों की उत्पत्ति का पता लगाने के लिए संदेश सेवाओं की आवश्यकता होगी। WhatsApp ने दिल्ली में केंद्र सरकार के खिलाफ कानूनी शिकायत दर्ज की है, जो बुधवार को लागू होने वाले नियमों को अवरुद्ध करने की मांग कर रही है।
गौरतलब है कि फरवरी माह में केंद्र सरकार ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के लिए नई गाइडलाइन जारी की थी। केंद्र ने इस गाइडलाइन को लागू करने के लिए सभी कंपनियों को 3 माह का समय दिया था, लेकिन Koo App के अलावा दूसरे प्लेटफॉर्म्स ने इसे लागू करने में आनाकानी की। ऐसे में नई गाइडलाइन को लागू नहीं करने वाले सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म्स के खिलाफ कार्रवाई की जा सकती है और उन्हें भारत में बैन का खतना झेलना पड़ रहा है।
केंद्र सरकार की नई गाइडलाइन में बताया गया है कि इंटरनेट मीडिया प्लेटफॉर्म को भारत में नोडल ऑफिसर, रेसिडेंट ग्रीवांस ऑफिसर अप्वाइंट करना होगा, जो भारत में होगा। इस अधिकारी को 15 दिनों के अंदर OTT कंटेंट के खिलाफ मिलने वाली शिकायतों का निपटारा करना होगा। साथ ही नई गाइडलाइन के तहत इंटरनेट मीडिया प्लेटफॉर्म को हर माह एक रिपोर्ट भी जारी करनी होगी कि जिसमें यह बताया होगा कि शिकायतों और उनके निपटारे को लेकर क्या कार्रवाई की है। रिपोर्ट में यह भी बताना होगा कि किन पोस्ट और कंटेंट को हटाया गया और इसकी क्या वजह थी, इसके बारे में भी बताना होगा। सभी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के पास इंडिया का फिजिकल एड्रेस होना चाहिए, जो कंपनी के मोबाइल ऐप और वेबसाइट पर दर्ज होना चाहिए।