पंद्रह साल से सत्ता का वनवास काट रही कांग्रेस की सरकार को बनने के बाद महज़ 15 महीने में गिराने के बाद मध्य प्रदेश की राजनीति का केंद्र बिंदु बनने वाले ज्योतिरादित्य सिंधिया मालवा के दौरे पर हैं। कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में आने के बाद यह उनका पहला मालवा दौरा है। लिहाज से इस दौरे को काफी महत्वपूर्ण माना जा रहा हैं। रविवार को सिंधिया राजस्थान के उदयपुर एयरपोर्ट पहुंचे और वहां से सड़क मार्ग से नीमच पहुंचे। जहां पर सिंधिया ने कोरोना काल में मृत हुए बीजेपी कार्यकर्ताओ के परिवार वालों से मुलाक़ात की और मृतकों को श्रद्धांजलि अर्पित की।
मीडिया से बात करते हुए सिंधिया ने अपनी पूर्व पार्टी के बारे में कहा कि कांग्रेस तो क्वारन्टीन हो चुकी है और ट्विटर तक ही सीमित है और अब जनता भी कांग्रेस को वैसे ही सीमित रखने वाली है आने वाले 100 सालों तक। दरअसल सिंधिया से मीडिया ने सवाल किया था कि कांग्रेस कोरोना काल के बाद आपके दौरे को राजनीती करने का बोलकर निशाना साध रही है। इस पर सिंधिया कांग्रेस पर बरस पड़े सिंधिया ने कहा कि कठिनाई यह है कि कांग्रेस जनता के बारे में चिंता नहीं करती। अगर जनता के बारे में चिंता करती तो कांग्रेस का नेता दिखता कांग्रेस का कार्यकर्ता दिखता कांग्रेस का काम दिखता। जो भारतीय जनता पार्टी ने काम करके दिखाया है इस कोरोना काल में
आपको बता दे कि मालवा को सिंधिया का दूसरा गढ़ माना जाता है और यह माना जा रहा हैं कि पार्टी बदलने के बाद सिंधिया दौरे के ज़रिए भाजपा नेताओं और कार्यकर्ताओं से नए सियासी रिश्तों की शुरुआत करने जा रहे हैं। हालांकि नए भाजपा नेता पुराने भाजपा नेताओं और कार्यकर्ताओं से किस तरह और किस हद तक तालमेल बिठा पाते हैं और किस तरह के रिश्ते बन पाते हैं इसका सबको इंतज़ार रहेगा।