ग्वालियर। शहर में चल रहे कोरोना वायरस से बचाव के टीकाकरण अभियान में एक बड़ी लापरवाही उजागर हुई है। वैक्सीनेशन सेंटर पर एक महिला को दो अलग-अलग टीके लगा दिए गए हैं। महिला को पहला डोज अप्रैल में कोविशिल्ड का लगाया गया था, तो वहीं अब रविवार को जब महिला दूसरा डोज लगवाने वैक्सीनेशन सेंटर पहुंची, तो उसे दूसरे डोज के रुप में को-वैक्सीन का पहला डोज लगा दिया गया है। महिला के परिजनों को लापरवाही का आभास होते ही वैक्सीनेशन सेंटर पर इसकी शिकायत की। लेकिन वहां मौजूद स्टाफ ने जब उन्हें गंभीरता से नहीं सुना, तो उन्होंने जमकर हंगामा खड़ा कर दिया और अब इस पूरी लापरवाही पर स्वास्थ्य विभाग के बड़े अधिकारियों से शिकायत करने की तैयारी कर ली गई है।
जानकारी के मुताबिक उपनगर ग्वालियर के गोसपुरा नंबर-1 में रहने वाली 55 वर्षीय पूनम देवी चौहान ने कोरोना से बचाव के लिए 11 अप्रैल हजीरा सिविल अस्पताल में बने वैक्सीनेशन सेंटर पर कोवीशील्ड वैक्सीन का पहला डोज लगवाया था और उन्हें 84 दिन बाद दूसरा डोज लगवाना था। जिसके लिए उन्होंने 1 अगस्त को सिविल हॉस्पिटल पहुंच कर ऑनस्पॉट अपना स्लॉट बुक करवाया। रजिस्ट्रेशन विंडो से एंट्री स्लिप मिलने के बाद अंदर वैक्सीनेशन रूम में बैठी नर्स ने पर्ची देखकर पूनम देवी को कोवैक्सिन का पहला डोज लगा दिया। टीकाकरण में लापरवाही का खुलासा तब हुआ जब पूनम देवी घर पहुंची और उनके बेटे सौरभ के मोबाइल पर मैसेज आया, तो चला कि उनकी मां को गलत वैक्सीन का डोज लगा दिया गया है।
गलत वैक्सीन लगने का पता चलते ही पूनम देवी को चक्कर आने लगे और घबराहट होने लगी। तत्काल परिजन उनको लेकर सिविल अस्पताल पहुंचे और वहां मौजूद स्टाफ से बात की। पर यहां सेंटर पर काम कर रहे कर्मचारी सुनने को तैयार ही नहीं थे। जिसके बाद पूनम देवी के परिजनों ने जमकर हंगामा खड़ा कर दिया। हंगामा बढ़ता देख तुरंत पुलिस को सूचना दी गई जिसके बाद पुलिस ने मामले को आकर शांत करवाया। वैक्सीनेशन में इतनी बड़ी लापरवाही को लेकर अब पूनम देवी चौहान के परिजन सीएमएचओ से शिकायत कर रहे हैं ,ताकि लापरवाही के जिम्मेदारों तक पहुंचा जा सके।