भोपाल। भौतिक व सांसारिक सुख प्रदान करने वाले शुक्र ग्रह शनिवार को सिंह से कन्या राशि में प्रवेश करेंगे। शुक्र ग्रह 18 अक्टूबर तक कन्या राशि में रहेंगे। इसके बाद स्वराशि तुला में प्रवेश करेंगे। पंडित रामजीवन दुबे गुरुजी ने बताया कि भोर का तारा कहे जाने वाले शुक्र ग्रह को वृषभ और तुला राशि का स्वामी माना जाता है। वहीं भरणी, पूर्वाफाल्गुनी और पूर्वाषाढ़ा शुक्र के ही आधिपत्य वाले नक्षत्र होते हैं। शुक्र मीन राशि में उच्च के और कन्या राशि में नीच के होते हैं। शुक्र ग्रह को सुख-संपत्ति, ऐश्वर्य और वैवाहिक सुख का कारक माना जाता है। जातकों को जीवन में भौतिक व सांसारिक सुख प्रदान करने वाले शुक्र देव शनिवार 24 सितंबर को रात 8 बजकर 51 मिनट पर अपने मित्र ग्रह बुध की राशि कन्या में प्रवेश करेंगे। इस स्थिति में शुक्र 18 अक्टूबर तक रहेंगे और फिर उसके बाद अपनी स्वराशि तुला में पुन: गोचर कर जाएंगे। शुक्र के इस राशि परिवर्तन का कई राशियों पर बहुत अनुकूल और शुभ प्रभाव पड़ेगा। वहीं कुछ राशियों के जातकों के लिए शुक्र के इस राशि परिवर्तन का मिला-जुला असर रहेगा।
मेष : राशि से छठे शत्रु भाव में गोचर करते हुए शुक्र का प्रभाव आर्थिक रूप से बहुत अच्छा नहीं कहा जा सकता। यद्यपि विलासितापूर्ण वस्तुओं पर अधिक खर्च होगा। फिर भी किसी न किसी कारण से मानसिक परेशानी का सामना ही करना पड़ेगा। गुप्त शत्रुओं की अधिकता रहेगी। लोग आपको नीचा दिखाने का एक भी अवसर नहीं छोड़ेंगे।
वृषभ : इस राशि से पंचम विद्या भाव में गोचर करते हुए शुक्र का प्रभाव आपके लिए किसी वरदान से कम नहीं है। शिक्षा प्रतियोगिता में अच्छी सफलता मिलेगी। अपनी ऊर्जाशक्ति का भरपूर उपयोग करते हुए कार्य करेंगे तो अधिक सफल रहेंगे।
मिथुन : इस राशि से चतुर्थ सुख भाव में गोचर करते हुए शुक्र का प्रभाव हर तरह के विलासिता पूर्ण पदार्थों की प्राप्ति करवाने में मददगार सिद्ध होगा। जमीन-जायदाद से जुड़े मामले हल होंगे।
कर्क : इस राशि से तृतीय पराक्रम भाव में गोचर करते हुए शुक्र का प्रभाव अदम्य आपको त्वरित निर्णय लेने वाला और साहसी बनाएगा। परिवार में छोटे भाइयों से मतभेद बढऩे न दें।
सिंह : इस राशि से द्वितीय धन भाव में गोचर करते हुए शुक्र उतार-चढ़ाव और कई तरह के अप्रत्याशित परिणामों का सामना करवाएंगे। स्वास्थ्य के प्रति सावधान रहे। आकस्मिक धन प्राप्ति का योग बनेगा। कार्य क्षेत्र में षड्यंत्र का शिकार होने से बचें।
कन्या : आपकी राशि में गोचर करते हुए शुक्र का प्रभाव कई मायनों में बेहतरीन सफलता दिलाएगा। परिवार में मांगलिक कार्यों का सुअवसर आएगा। स्वास्थ्य विशेष करके पेट संबंधित समस्या से सावधान रहें।
तुला : इस राशि से बारहवें व्यय भाव में गोचर करते हुए शुक्र अत्यधिक भागदौड़ और खर्च का सामना करवाएंगे। विलासतापूर्ण वस्तुओं पर अधिक खर्च होगा। कार्यक्षेत्र में षड्यंत्र का शिकार होने से बचें।
वृश्चिक : इस राशि से एकादश लाभ स्थान में गोचर करते हुए शुक्र हर तरह से अच्छी सफलता दिलाएंगे। कार्यक्षेत्र का विस्तार होगा। कोई भी बड़े से बड़ा कार्य आरंभ करना हो अथवा किसी नए अनुबंध पर हस्ताक्षर करना हो तो उस दृष्टि से भी ग्रह गोचर अनुकूल रहेगा
धनु : इस राशि से दशम कर्म भाव में गोचर करते हुए शुक्र आपकी प्रभाव वृद्धि तो करेंगे ही। साथ ही लिए गए निर्णय की सराहना भी होगी। सामाजिक पद प्रतिष्ठा बढ़ेगी। जमीन जायदाद से जुड़े मामलों का निपटारा होगा।
मकर : इस राशि से नवम भाग्य भाव में गोचर करते हुए शुक्र कई तरह के अप्रत्याशित और सुखद परिणामों का सामना करवाएंगे। स्वास्थ्य संबंधी समस्या से सावधान रहें।
कुंभ : इस राशि से अष्टम आयु भाव में गोचर करते हुए शुक्र का प्रभाव सामान्य ही रहेगा। किंतु इस राशि के लिए शुक्र अकेले योगकारक कहे गए हैं। इसलिए उतार-चढ़ाव के बावजूद जो कार्य चाहेंगे संघर्ष के बाद सफल होंगे। विलासिता पूर्ण वस्तुओं पर अधिक खर्च होगा।
मीन : इस राशि से सप्तम दांपत्य भाव में गोचर करते हुए शुक्र का प्रभाव कई मायनों में बेहतरीन रहेगा। किंतु स्वास्थ्य के प्रति हमेशा सावधान रहने की आवश्यकता है। जो लोग आपको नीचा दिखाने की कोशिश में लगे थे वही मदद के लिए आगे आएंगे।