नई दिल्ली। कांग्रेस सांसद राहुल गांधी को मोदी सरनेम मानहानि केस में सूरत की कोर्ट द्वारा दोषी ठहराया गया है और दो साल की सजा भी सुनाई गई है। आईपीसी की धारा 504 के तहत राहुल गांधी को दोषी करार दिया गया है। हालांकि कांग्रेस को जेल नहीं जाना पड़ेगा, क्योंकि ऊपरी अदालत से उन्हें तत्काल जमानत मिल गई। सुनवाई के दौरान राहुल गांधी सूरत कोर्ट में मौजूद रहे। कोर्ट ने राहुल गांधी को 30 दिन का समय दिया, ताकि वे ऊपरी अदालत में याचिका दायर कर सकें।
यह पूरा मामला साल 2019 का है जब चुनाव प्रचार के दौरान राहुल गांधी ने कहा था कि सभी मोदी सरनेम वाले चोर हैं। भगोड़े कारोबारी नीरव मोदी के मामले में राहुल गांधी ने यह टिप्पणी की थी। यदि राहुल गांधी को जमानत नहीं मिलती तो उन्हें जेल जाना पड़ता और उनकी संसद सदस्यता भी जा सकती थी। चुनावी रेली के दौरान मोदी सरनेम को लेकर भाजपा के विधायक और पूर्व कैबिनेट मंत्री पूर्णेश मोदी ने राहुल गांधी पर मानहानि का दावा ठोका था। राहुल गांधी इससे पहले तीन बार सूरत की कोर्ट में हाजिर रहे थे।
राहुल गांधी ने कोर्ट के अंदर अपने बयान में कहा था कि वो खुद पर लगे आरोप से इनकार करते हैं। राहुल ने कहा था कि उन्होंने चुनावी रैली में ऐसा कहा था, ये उन्हें याद नहीं है। राहुल गांधी को लेकर कोर्ट के फैसले की संभावनाओं को देखते हुए गुजरात कांग्रेस के नेता अभी से ही सूरत पहुंच चुके हैं। जीपीसीसी अध्यक्ष जगदीश ठाकोर, विधायक दल के नेता अमित चावड़ा, गुजरात के एआइसीसी प्रभारी रघु शर्मा और विधायकों सहित राज्य कांग्रेस के वरिष्ठ नेता सूरत में हैं। सूरत में राहुल गांधी के स्वागत के लिए हजारों कांग्रेस कार्यकर्ता जुटे। कार्यकर्ताओं ने विरोध प्रदर्शन भी किया। मोदी सरनेम पर क्या कहा था राहुल गांधी ने राहुल गांधी ने कर्नाटक में 13 अप्रैल 2019 की चुनावी रैली में कहा था कि नीरव मोदी, ललित मोदी, नरेंद्र मोदी का सरनेम कामन क्यों है। सभी चोरों का सरनेम मोदी क्यों होता है?