इंदौर: मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने शनिवार को इंदौर में काबुली चना ट्रेडर्स एसोसिएशन के पहले वार्षिक सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि काबुली चना, जिसका नाम काबुल से जुड़ा हो सकता है, वास्तव में इंदौरी चना है। उन्होंने इस पर गर्व व्यक्त किया और मजाकिया लहजे में कहा कि अगर नाम काबुली है तो आज नहीं तो कल, काबुल भी हमारा होगा। उन्होंने कहा कि काबुली चना हमेशा से हमारा था और आगे भी हमारा ही रहेगा।
इंदौर, उज्जैन, देवास और धार के कुछ हिस्सों को मिलाकर बनाएंगे मेट्रोपोलिटन सिटी
मुख्यमंत्री ने इस मौके पर किसानों के फायदे की बात करते हुए बताया कि गेहूं की तुलना में काबुली चना उगाने में बिजली और पानी की कम जरूरत होती है, जबकि इसका मुनाफा अधिक होता है। उन्होंने सभी व्यापारियों को मध्य प्रदेश में आकर व्यापार करने के लिए आमंत्रित किया और कहा कि इंदौर और उज्जैन के बीच की दूरी बहुत कम है। आने वाले समय में इंदौर, उज्जैन, देवास और धार जिलों को मिलाकर मेट्रोपोलिटन सिटी के रूप में विकसित करने की योजना है, जिससे प्रदेश का वाणिज्यिक और व्यापारिक भविष्य उज्जवल होगा।
इसके अलावा, इंदौर एयरपोर्ट पहुंचने पर मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने शुक्रवार को हुई तेज बारिश के बाद जलजमाव की स्थिति का जायजा लिया। उन्होंने जिला प्रशासन को निर्देश दिए कि भविष्य में ऐसी समस्याओं से निपटने के लिए नगर निगम इंदौर और इंदौर विकास प्राधिकरण उचित और स्थायी प्रबंध सुनिश्चित करें। इस मौके पर कई वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे।