भोपाल। मध्य प्रदेश पुलिस मुख्यालय जल्द ही अपराध जांच से जुड़े करीब 25,000 पुलिसकर्मियों को टैबलेट उपलब्ध कराने की योजना पर काम कर रहा है। इसके लिए बजट भी स्वीकृत कर लिया गया है।
नए कानून और टैबलेट की आवश्यकता
3 जुलाई से लागू हुए तीन नए कानूनों के बाद टैबलेट खरीदने का प्रस्ताव पेश किया गया था। हालांकि, बजट की कमी के चलते इसे तुरंत अमल में नहीं लाया जा सका। अब यह टैबलेट जल्द ही पुलिसकर्मियों को वितरित किए जाएंगे।
वीडियो रिकॉर्डिंग में आएगी आसानी
भारतीय साक्ष्य अधिनियम’ के तहत ई-साक्ष्य को अनिवार्य किया गया है, जिसमें घटनास्थल और सभी साक्ष्यों की वीडियो रिकॉर्डिंग करना जरूरी है। फिलहाल, पुलिसकर्मी यह काम अपने मोबाइल फोनों से कर रहे हैं, लेकिन टैबलेट मिलने के बाद यह प्रक्रिया सरल और व्यवस्थित हो जाएगी।
टैबलेट के फायदे
टैबलेट उच्च मेमोरी और बैटरी क्षमता वाले होंगे, जिससे साक्ष्य सुरक्षित रूप से संग्रहीत किए जा सकें।
विवेचना अधिकारी बदलने की स्थिति में, टैबलेट नए अधिकारी को सौंपा जा सकेगा।
प्रत्येक अधिकारी अपने पासवर्ड से ‘ई-साक्ष्य’ पोर्टल पर लॉग इन कर सकेगा, जिससे डेटा की सुरक्षा और सटीकता बनी रहेगी।
सीधे CCTNS से कनेक्शन
ये टैबलेट क्राइम एंड क्रिमिनल ट्रैकिंग नेटवर्क एंड सिस्टम (CCTNS) से जुड़े होंगे। टैबलेट से की गई वीडियो रिकॉर्डिंग सीधे CCTNS पर अपलोड होगी और कोर्ट में साक्ष्य के रूप में पेश की जा सकेगी।
चुनौतियां और कार्यान्वयन की योजना
फिलहाल, सभी विवेचना अधिकारियों के लॉगिन-पासवर्ड तैयार न होने और तकनीकी दक्षता की कमी के कारण ई-साक्ष्य व्यवस्था पूरी तरह लागू नहीं हो पाई है।
जनवरी 2025 तक वितरण का लक्ष्य
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, पुलिस मुख्यालय का लक्ष्य है कि जनवरी 2025 तक सभी विवेचना अधिकारियों को टैबलेट उपलब्ध कराए जाएं। साथ ही, ई-साक्ष्य की व्यवस्था अगले एक-दो महीनों में सभी जिलों में लागू कर दी जाएगी।