आधार, आपका अधिकार, आपकी पहचान, और आपके अधिकारों की चाबी

गौरी मोदी। हम भारतीय नागरिकों के पास एक ऐसा दस्तावेज है जो हमे एक सशक्त नागरिक बनाता है। वह दस्तावेज़ है ‘आधार कार्ड’। आधार कार्ड सिर्फ 12- अंकों वाला नंबर नहीं पहचान और अधिकारों का प्रमाण भी है। UIDAI द्वारा जारी किया गया यह 12-अंकों वाला कार्ड न केवल नवजात एवं वृद्ध को भी कई सरकारी सेवाओं का लाभ उठाने में मदद करता है।

साल 2009 में भारतीय नागरिकों को एक विशिष्ट पहचान संख्या (UIDAI) देना। 29 सितंबर 2010 को भारत का पहला आधार कार्ड जारी किया गया, जो की महाराष्ट्र के तेंभली गाँव की निवासी “रंनजना सोनावाने” का था। यह दिन आधार की यात्रा की शुरुआत का प्रतीक बन गया।

आधार कार्ड ने भारतीय नागरिकों के जीवन को कई तरह से बेहतर बनाया है। जिनमें से सरकारी योजनाओं का लाभ उठाने के लिए फिर चाहे वो गैस सब्सिडी हो, पेंशन हो या जन धन योजना हो। आधार कार्ड ने सरकारी सेवाओं में हो पारदर्शिता लाई है, जिससे लाभ सीधे सही व्यक्ति को मिला है।

आधार कार्ड से समय में बचत और कागजी कार्रवाई में भी बचत होती है। आधार कार्ड से हमें मोबाइल सिम नंबर लेना आसान हो गया है। आधार कार्ड ने बढ़ती हाई टेक्नोलॉजी को ध्यान में रखते हुए बायोमेट्रिक सुरक्षा लगाई है, ताकि आपकी पहचान गोपनीय रहे और अनुचित उपयोग न हो पाए। आधार कार्ड से सरकारी दस्तावेजों का डिजिटीलीकरण वोटर आईडी कई से लिंकिंग डिजिटल वॉलेट्स में आसानी से लेनदेन कर सकते है। इसने स्वास्थ सेवाएं भी आसान बनाई है और अन्य बहुत सी सरकारी एवम प्राईवेट सेवाओं को आरामदेह बनाया है।

जितना आधार ने हमारे जीवन को सरल बनाया है साथ ही उतनी चुनौतियाँ एवं दिक्कतें आती है। जैसे की डाटा लीक की घटनाओं ने लोगो की गोपनीयता को खतरे में डाल दिया है। बायोमेट्रिक विफलता भी एक बड़ी समस्या है। विशेष रूप से वृद्ध लोगों, मजदूरों और ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वालो के लिए यह एक बड़ी समस्या है। जिसमें फिंगरप्रिंट या आइरिस, स्कैन काम नहीं करते। कुछ क्षेत्रों में इंटर नेट और डिजिटल, उपकरणों की पहुंच नहीं है। इससे ग्रामीण और दूरदराज के इलाकों में रहने वाले लोग आधार आधारित सेवाओं का लाभ नहीं उठा पाते। ऑफलाइन सेवाओं में कठिनाई को सही समय बाली कठिनाइयां होती है। आधार को सही समय पर अपडेट न होने के कारण होने वाली कठिनाइयां।

गलत एव अधूरे डेटा के कारण, कई लोगों को समस्या आती है। कभी कभी डुप्लीकेट या फर्जी आधार कार्ड बनाए जाते हैं, जिस से धोखाधड़ी भी हो जाती है. आधार आधारित सेवाओं में कभी-कभी तकनीकी समस्याएं आती है, जैसे सर्वर डाउन।

आधार कार्ड ने कई क्षेत्रों में सुविधाएँ प्रदान की हैं, लेकिन इसके साथ आई चुनौतियों का समाधान करना भी आवश्यक है। आधार कई भारतीय नागरिकों के जीवन में बहुत बड़ा बदलाव लाया है। लेकिन हमें आधार की उपयोगिता और इसकी सुरक्षा के बारे में जागरूक रहना चाहिए, ताकि हम इसके सभी लाभ उठा सकें और इसे और भी सुराक्षत और प्रभावी बना सकें।

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