मुरैना। मध्यप्रदेश चंबल की माटी में एक समय ऐसा था,कि जब एक से बढ़कर एक बड़े डकैतों की तूती बोला करती थी। लेकिन 90 के दशक के बाद से धीरे-धीरे बीहड़ के इलाके इन खूंखार डकैतों के साए से मुक्त होते चले गए। प्रदेश की शिवराज सरकार ने भी डकैतों के सफाए के दावों पर जमकर तारीफे बटोरी लेकिन सरकार के दावों से उलट हकीकत कुछ और बयां कर रही है। चंबल के बीहड़ो के आसपास के गांवों का सन्नाटा में इस बात की तस्दीक कर रहा है,कि एक बारफिर से चंबल की धरती पर डकैतों का मूवमेंट बढ़ गया है|
- 50 से ज्यादा गांव में दहशत…
चंबल के बीहड़ों में एक बार फिर से डकैतों की मूवमेंट ने बीहड़ के साए में बसने वाले 50 से ज्यादा गांव के लोगों दिन रात की नींद चुरा ली है और साथ ही मध्य प्रदेश सरकार के उन दावों की भी हवा निकाल दी है जिनमें बार-बार चंबल के बीहड़ों को डकैत मुक्त किए जाने का दावा किया जाता है ताजा मामला राजस्थान के सवा लाख रुपए के इनामी केशव गुर्जर से जुड़ा हुआ है कुछ दिनों से ऐसी खबरें आ रही है की राजस्थान के पार मध्य प्रदेश के मुरैना जिले के बीहड़ के इलाकों में लगातार कुछ हथियारबंद लोग नजर आ रहे हैं जिसके कारण ग्रामीणों में दहशत है और वे शाम ढलते ही अपने घरों में कैद हो जाते है।
- राजस्थान की डकैत गैंग सक्रिय…
अभी हाल ही में झांसी से हुए डॉक्टर के अपहरण कांड के बाद से ऐसी चर्चाएं सामने आई हैं, कि अपहृत डॉक्टर को केशव गुर्जर गैंग को सौंपने की तैयारी थी। लेकिन उससे पहले ही डॉक्टर को पुलिस ने हिंगोना गांव के खेत से बरामद कर लिया था। दबी जबान यह भी चर्चा है कि डॉक्टर को बड़ी फिरौती लेने के बाद छोड़ा गया है। लेकिन इन सबके बीच चंबल क्षेत्र में डकैतों की आवाजाही से इंकार नहीं किया जा सकता है। हालांकि सरकार के दावे हमेशा प्रदेश को डकैत मुक्त बताने के रहते हैं लेकिन इन सबके बीच बीहड़ के आसपास बसे लोग खेतों तक पर जाने से कतरा रहे हैं। खबर है कि राजस्थान सरकार द्वारा सवा लाख का इनामी डकैत केशव गुर्जर इन दिनों मध्यप्रदेश के मुरैना जिले के बीहड़ों में घूम रहा है, जिसके चलते चंबल से लगे गांवो में देर शाम होते ही सन्नाटा पसर जाता है। |
- एमपी पुलिस की बढी चिंताए…
चंबल अंचल में डकैतों की दस्तक को देखते हुए पुलिस द्वारा लगातार सर्चिंग भी की जा रही है चंबल नदी मध्यप्रदेश में राजस्थान की सीमा पर है इसके चलते राजस्थान के डकैत अक्सर चंबल नदी क्रॉस करके मध्यप्रदेश के मुरैना में आ जाते हैं और यहां वारदात को अंजाम देने के बाद फिर से राजस्थान चले जाते हैं दोनों ही प्रांतों के लिए डकैतों की दस्तक ने मध्य प्रदेश पुलिस की चिंताएं जरूर बढ़ा दी है |