उज्जैन। उज्जैन में कलाल समाज के पदाधिकारियों ने बागेश्वर धाम के पंडित धीरेंद्र शास्त्री के खिलाफ कार्रवाई की मांग को लेकर पुलिस कंट्रोल रूम पर प्रदर्शन किया। पदाधिकारियों का आरोप था कि बागेश्वर धाम ने कलाल समाज के कुल देवता सहस्त्रबाहु अर्जुन के खिलाफ बयान देकर पूरे समाज का अपमान किया है। उन्हें सार्वजनिक रूप से माफी मांगनी चाहिए। पदाधिकारियों ने पुलिस अधीक्षक के नाम ज्ञापन देकर धीरेंद्र शास्त्री पर कार्रवाई की मांग की।
कलाल समाज के भरत पोरवाल ने कहा, जिन क्षत्रिय राजाओं को लेकर पंडित धीरेंद्र शास्त्री ने विवादित बयान दिया है, वो सहस्त्रबाहु अर्जुन चक्रवर्ती सम्राट रहे हैं। संतों का काम है धर्म को आगे बढ़ाना, न कि किसी समाज के कुलदेवता के खिलाफ विवादित टिप्पणी करना। कलाल समाज के लोगों ने इस मामले को लेकर नाराजगी जताते हुए यह भी कहा कि इस मामले में पुलिस को मुकदमा दर्ज करना चाहिए। अगर पुलिस मुकदमा दर्ज नहीं करेगी तो हम अदालत में जाएंगे, उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज करवाएंगे।
पुलिस कंट्रोल रूम पर कलचुरी कलाल समाज, जिसमें जायसवाल, राय, पोरवाल, चौकसे और मालवीय आदि के प्रतिनिधिमंडल ने एसपी के नाम ज्ञापन सौंपकर धीरेंद्र शास्त्री के खिलाफ एफआईआर की मांग की है। समाज के प्रतिनिधिमंडल का कहना था कि शास्त्री ने हमारे समाज के आराध्य देव भगवान सहस्त्रबाहु के खिलाफ अभद्र टिप्पणी की है, जिससे हमारी भावनाएं आहत हुई हैं। ऐसा ढोंगी बाबा जहां भी जाएगा, हम उसका विरोध कर मुंह काला करेंगे।
छतरपुर स्थित बागेश्वर धाम के महंत पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की ओर से हैहयवंशी समाज के आराध्य देव राजराजेश्वर सहस्त्रबाहू महाराज पर विवादित टिप्पणी की गई थी। उन्होंने कहा था, सहस्त्रबाहु जिस वंश से था, उस वंश का नाम था हैहय वंश। हैहय वंश के विनाश के लिए भगवान परशुराम ने फरसा अपने हाथ में उठाया। हैहय वंश का राजा बड़ा ही कुकर्मी, साधुओं पर अत्याचार करने वाला था। ऐसे आतताइयों के खिलाफ भगवान परशुराम ने फरसा उठाया। हैहय वंश ने उनकी टिप्पणी पर भारी विरोध जताते हुए उनके खिलाफ देश भर में मामला दर्ज कराने की चेतावनी दी थी। अखिल भारतीय हैहय वंशी क्षत्रिय समाज के केंद्रीय समिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष रामनारायण ताम्रकार ने शास्त्री को 24 घंटे में माफी मांगने की चेतावनी दी थी और कहा था कि यदि वह ऐसा नहीं करते हैं तो पूरे देश में उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई जाएगी।