मध्य प्रदेश: जबलपुर में सोमवार को शर्मसार करने वाली घटना सामने आई। यहां एक कोरोना संक्रमित बुजुर्ग महिला को किसी अस्पताल में भर्ती नहीं किया गया। बेटा उसे कार में लेकर भटकता रहा और आखिरकार वृद्धा की मौत हो गई।
इधर, कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान आज दोपहर से 24 घंटे के लिए भोपाल में स्वास्थ्य आग्रह पर बैठ गए हैं। मिंटो हॉल में डोम बनाया गया है। वहीं से वे आज मध्यप्रदेश की सरकार चला रहे हैं।
इंदौर, भोपाल, जबलपुर और ग्वालियर जैसे शहरों के बाद छोटे शहरों में भी केसों की संख्या बढ़ रही है। चिंता की बात ये है कि कोरोना से होने वाली मौतों के आंकड़ों पर सवाल उठ रहे हैं। हेल्थ बुलेटिन में मृतकों की संख्या कम बताई जा रही है, जबकि मुक्तिधामों में अंतिम संस्कार के लिए कोविड शव ज्यादा आ रहे हैं।
मध्य प्रदेश एक दिन पहले ही देश का 7वां सबसे संक्रमित राज्य बन गया है। अब उससे ऊपर महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़, कर्नाटक, उप्र, दिल्ली और तमिलनाडु हैं। MP में एक्टिव केस 22654 हो गए हैं। राज्य में हर दिन 30 हजार सैंपल की जांच हो रही है।
भोपाल में सोमवार को रिकॉर्ड 582 नए संक्रमित मिले। यहां एक्टिव केस 4495 हो गए हैं। संक्रमण दर 20 फीसदी पर है। टेस्ट कराने आने वाला हर पांचवां व्यक्ति कोरोना पॉजिटिव मिल रहा है। भोपाल में सोमवार को 17 लोगों का अंतिम संस्कार हुआ, जो कोरोना पॉजिटिव थे।
वहीं सरकारी रिकॉर्ड में सिर्फ दो मौत दर्ज हैं। सरकार पर मौतों के आंकड़े छिपाने के आरोप लग रहे हैं। इस पर स्वास्थ्य विभाग के अपर मुख्य सचिव मोहम्मद सुलेमान ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि हम सौ फीसदी गारंटी नहीं देते कि हमारे द्वारा बताए गए आंकड़े एकदम सही ही होंगे, क्योंकि अब अस्पतालों की संख्या बढ़ गई और हमें सभी अस्पतालों में कोविड से होने वाली मौतों का पूरा आंकड़ा नहीं मिल पा रहा है।