ग्वालियर में मुरार स्थिति सीपी कॉलोनी में प्रवर्तन निदेशालय ने रेड मारी है। यह छापेमारी कार्रवाई पूर्व रजिस्ट्रार केके अरोरा के घर पर की गई है। अरोरा आरटीओ के पूर्व कॉन्स्टेबल सौरभ शर्मा के करीबी बताए जा रहे हैं।
विजय हासवानी के बिजनेस पार्टनर
ED की टीम सुबह करीब पांच बजे केके अरोरा के घर पहुंची। पूर्व वरिष्ठ सब रजिस्ट्रार केके, विजय हासवानी के बिजनेस पार्टनर हैं। भोपाल स्थित मेंडोरी का फार्म हाउस विनय का है, जहां इनोवा कार में 54 किलो सोना और 11 करोड़ रुपये नकद मिले थे।
शहर से बाहर है केके परिवार
वह सौरभ शर्मा के मौसा है। जानकारी के अनुसार, अरोरा और उनकी पत्नी बेंगलुरू में हैं। उनके मकान में दो किरायेदार रहते हैं, जिनसे पूछताछ की जा रही है। प्रवर्तन निदेशालय की टीम ने छापेमारी के समय किरायेदारों को घर में बंद कर दिया।
छापे से 3 दिन पहले बंद कर लिया था मोबाइल
पूर्व आरक्षक सौरभ शर्मा जांच एजेंसियों की पकड़ में अब तक नहीं आया है। सौरभ के सहयोगियों से पूछताछ के बाद आयकर विभाग मान रहा है कि उसे लोकायुक्त पुलिस के छापे की जानकारी पहले से थी। उसका मोबाइल 16 दिसंबर से बंद था, जबकि छापा 19 दिसंबर को पड़ा।
आईटी ने सौरभ शर्मा के सहयोगी चेतन सिंह गौर, सौरभ की मां और मौसेरे जीजा से पूछताछ की। जांच और बयानों के आधार पर आयकर का कहना है कि पूर्व आरक्षक देश में है। इधर, शर्मा के सहयोगी और अविरल एंटरप्राइजेस के निर्देशक शरद जायसवाल को नोटिस जारी किया है।
अग्रिम जमानत याचिका खारिज
सौरभ शर्मा, उसके सहयोगी शरद जायसवाल और चेतन गौर के खिलाफ लोकायुक्त पुलिस और ईडी जांच कर रहा है। सौरभ और शरद ने जिला कोर्ट में अग्रिम जमानत के लिए याचिका लगाई थी, जो खारिज हो गई है।