भोपाल। केरल, दिल्ली और तेलंगाना में मंकीपॉक्स के मरीज मिलने के बाद हड़कंप के हालात है। मंकीपॉक्स के फैलने को लेकर मध्य प्रदेश सरकार ने भी अलर्ट जारी किया है। प्रदेश के स्वास्थ्य विभाग ने सभी जोन को सर्कुलर जारी कर मंकीपॉक्स से निपटने के लिए अभी से इंतजाम करने के निर्देश दिए हैं। प्रदेश के स्वास्थ्य मंत्री प्रभु राम चौधरी ने कहा कि राज्य सरकार ने मंकीपॉक्स को लेकर अलर्ट जारी किया है। प्रदेश में फिलहाल मंकीपॉक्स के एक भी मरीज की पहचान नहीं हुई है, लेकिन जिस तरीके से दिल्ली और दूसरे राज्यों में मंकीपॉक्स के मरीज की पहचान हुई है उसके बाद मध्य प्रदेश में भी एहतियात बरती जा रही है। स्वास्थ्य मंत्री का कहना है कि इसी संबंध में विस्तृत दिशा निर्देश सभी जोन को जारी किए गए हैं। अघर किसी मरीज में मंकीपॉक्स के लक्षण मिलते हैं तो वह तत्काल में इलाज के लिए पहुंच सकता है।
मंकीपॉक्स होने पर हाथ-पैर में दाने निकल आते हैं। मंकीपॉक्स को लेकर विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) ने हेल्थ इमरजेंसी का ऐलान कर दिया है। केरल के बाद अब दिल्ली और तेलंगाना में भी इसके मामले सामने आ चुके हैं। दिल्ली में जो व्यक्ति मंकीपॉक्स से संक्रमित पाया गया है उसका अंतर्राष्ट्रीय यात्रा का कोई इतिहास नहीं है। इससे पहले केरल में मंकीपॉक्स के तीन मरीज मिल चुके हैं। ये तीनों ही मरीज यूएई से लौटे थे और वहीं पर ये किसी संक्रमित के संपर्क में आए थे। अब ऐसे समय में यह सवाल खड़ा हो रहा है क्या देश में मंकीपॉक्स का कम्युनिटी स्प्रेड शुरू हो गया है।
वही मंकीपॉक्स वायरस का इन्क्यूबेशन पीरियड 6 से 13 दिन तक होता है। कई बार 5 से 21 दिन तक का भी हो सकता है। इन्क्यूबेशन पीरियड का मतलब ये होता है कि संक्रमित होने के बाद लक्षण दिखने में कितने दिन लगे। ऐसे में मंकीपॉक्स के लक्षण वाले मरीज को बिना लापरवाही के एहतियात बरतना जरूरी है।