मध्य प्रदेश में हाल ही में हुई घटनाओं को लेकर सियायत तेज हो गई है। नीमच में आदिवासी की हत्या के मामले में कांग्रेस ने सरकार को घेरा, वहीं दतिया में कांग्रेस के पूर्व जिला अध्यक्ष के बेटे द्वारा एक अल्प संख्यक की हत्या के आरोप लगने के बाद बीजेपी हमलावर हो गई है।
इस घटना को लेकर गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा का बयान सामने आया है। उन्होंने कहा कि हमारे हाथ कानून से बंधे हैं, वरना ऐसे लोगों की दुनिया में कोई जगह नहीं होना चाहिए। उन्होंने कहा- दतिया में कांग्रेस के पूर्व जिला अध्यक्ष के बेटे ने अल्प संख्यक को कुचल-कुचल कर मार डाला। क्या कमलनाथ इस घटना पर कमेटी बनाएंगे?
गृह मंत्री ने कहा कि कांग्रेस कुत्सित राजनीति करती है। हम सभी घटनाओं की निंदा करते हैं, चाहे वह नीमच में हुई या फिर दतिया में। जो इस तरह की घटना को अंजाम देते हैं, वे विकृत मानसिकता के लोग हैं। ऐसी घटनाओं की जितनी भर्त्सना की जाए, कम है। लेकिन कांग्रेस इस पर भी रोटी सेकती है। वह भी मुंह देख कर।
बता दें कि दतिया में राजनीतिक रंजिश के चलते शुक्रवार की रात को शहजाद खान के साथ मारपीट करने के बाद उसे गाेली मार दी। अस्पताल ले जाते समय रास्ते में युवक की माैत हाे गई। इस मामले में कांग्रेस के पूर्व जिला अध्यक्ष नाहर सिंह यादव के बेटे पुत्र व पूर्व पार्षद हर्ष यादव सहित सात अन्य लोगों पर पुलिस ने प्रकरण दर्ज किया है। बताया जाता है कि शहर के वार्ड क्रमांक 8 में भाजपा व कांग्रेस नेताओं के बीच रंजिश चल रही थी। पूर्व में राशन वितरण के मामले को लेकर भी कांग्रेस जिलाध्यक्ष नाहर सिंह सिंह यादव के साथ मारपीट भी गई की गई थी। मृतक राशन की दुकान संचालित करता था।
दतिया की घटना पर चुप क्यों कांग्रेस?
इससे पहले बीजेपी के प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा ने दतिया की घटना को लेकर कांग्रेस को आड़े हाथ लिया था। उन्होने कहा कि दतिया की घटना पर कांग्रेस चुप क्यों हैं? उन्हाेंने सवाल उठाया कि पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ और दिग्विजय सिंह ट्वीट क्यों नहीं कर रहे हैं? दरअसल, दतिया में कांग्रेस के पूर्व जिला अध्यक्ष नाहर सिंह का बेटा हर्ष सिंह अल्पसंख्यक समुदाय के एक व्यक्ति के पैर में गोली मारता है और फिर घसीटकर उसे मारता है।
पवैया के बयान पर बोले मिश्रा- उनकी राय महत्वपूर्ण हो सकती है
जयभान पवैया के उस बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए नरोत्तम मिश्रा ने कहा कि यह उनकी व्यक्तिगत राय हो सकती है। यह राय महत्वपूर्ण भी हो सकती है। पवैया ने कहा था कि भारत माता की जय न बोलने वालों, वंदे मातरम न बोलने वालों की नागरिकता खत्म कर दी जाए। कानून में ये धारा जोड़ी जानी चाहिए। उनका संपत्ति का अधिकार भी छीन लेना चाहिए।