ग्वालियर के लक्ष्मीगंज सब्जी मंडी में भीषण आग लगी। आग में 14 दुकानें जलकर राख हो गई हैं। घटना का पता उस समय लगा जब आग की लपटें मंडी से बाहर निकलने लगीं। घटना की सूचना तत्काल दमकल दस्ते को दी गई। दमकल दस्ते ने मौके पर पहुंचकर दो घंटे की मशक्कत और 8 फायर ब्रिगेड पानी फायरिंग करने के बाद आग पर काबू पाया है। शुरुआती जांच में आग लगने का कारण शॉर्ट सर्किट बताया गया है, जबकि कोरोना कर्फ्यू के कारण मंडी खाली थी।
इसलिए कोई जनहानि की सूचना नहीं है। वहीं दुकानदार अग्निकांड के पीछे मंडी समिति पर साजिश का आरोप लगा रहे हैं। उनका आरोप है कि मंडी समिति काफी समय से व्यापारियों को यहां से हटाना चाहता है।ग्वालियर के लक्ष्मीगंज स्थित थोक सब्जी मंडी में शनिवार रात अचानक आग भड़क गई। कुछ ही मिनट में आग ने भयानक रूप धारण कर लिया।
आग लगने से मंडी के आसपास रहने वाले लोगों में भगदड़ मच गई। तत्काल आग की सूचना पुलिस कन्ट्रोल रूम और मंडी प्रबंधन को दी गई। मंडी में आग की सूचना मिलते ही व्यापारी भी वहां पहुंच गए। सूचना मिलते ही दमकल दस्ता फायर ब्रिगेड के साथ घटना स्थल पर पहुंच गई। तत्काल आग पर काबू करने का प्रयास शुरू कर दिया। करीब 8 फायर ब्रिगेड पानी फायरिंग कर दमकल दस्ते ने आग पर काबू पाया, लेकिन तब तक 14 दुकाने जलकर खाक हो गईं। यह दुकाने किनकी है यह पता लगाया जा रहा है।
मंडी में आग भड़कने का कारण दुकानों में लगी लकड़ियां और फट्टियां थीं। सभी दुकाने इन्हीं से बनी थीं। इसलिए एक बार आग लगी तो वह एक से दूसरी दुकान और तीसरी में लगती चली गई। जब लकड़ी पूरी तरह जल गई तो आग पर आसानी से काबू पा लिया गया। किस्मत से इस समय कोरोना के चलते मंडी नहीं लग रही हैं नहीं तो बड़ा हादसा हो सकता था।
व्यापारियों का आरोप
मंडी में व्यवसाय करने वालों का आरोप है कि आग साजिशन लगाई गई है। दुकानदारों ने मंडी समिति पर साजिश के आरोप लगाए हैं।उनका कहना है कि मंडी समिति दुकानें खाली करने के लिए दबाव बना रही है। उसने 3 जून तक दुकानें खाली करने का अल्टीमेटम दिया है। इसलिए इस अग्निकांड की जांच की जा जानी चाहिए।