नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के आत्मनिर्भर भारत आह्वन के तहत जहाजरानी मंत्रालय ने देश में नौवहन को बढ़ावा देने के लिए सभी प्रमुख बंदरगाहों को सिर्फ भारत में बने पोत खरीदने या किराये पर चलाने का निर्देश दिए हैं। जहाजरानी मंत्रालय ने सभी प्रमुख बंदरगाहों को उन्हीं कर्षण नावों (बड़े जहाजों को खींचने वाली मजबूत नाव) को खरीदने या किराये पर लेने का निर्देश दिया है।
जहाजरानी मंत्री मनसुख मंडाविया ने कहा कि नई गाइडलाइन से हमारे ने प्रमुख बंदरगाहों पर छोटे पोत की जरूरत मेक इन इंडिया के तहत पूरी होगी। इस नई योजना से देश के 16 प्रमुख बंदरगाहों पर छोटे पोत बनाने में मदद मिलेगी और हमारे बंदरगाह आत्मनिर्भर बनेंगे। देश में 23,000 से ज्यादा पोत नियमित रूप से आते हैं और उनकी ब मरम्मत की भी जरूरत पड़ती है इसे देखते हुए हम यह नीति अपना रहे हैं। जहाजरानी मंत्रालय भारतीय जहाज निर्माण उद्योग को बढ़ावा देने का लक्ष्य लेकर चल रहा है और मेक इन इंडिया जहाज निर्माण के लिए कुछ अग्रणी देशों के साथ चर्चा भी कर रहा है। इस बीच सरकार का यह निर्णय जहाज निर्माण में मेक इन इंडिया को साकार करने की दिशा में एक बड़ा कदम साबित होगा।