भोपाल। मध्य प्रदेश सरकार ने संविदा कर्मचारियों के लिए एक महत्वपूर्ण निर्णय लिया है, जिसके तहत अब उन्हें मातृत्व और पितृत्व अवकाश का लाभ मिलेगा। इसके बाद, संविदा कर्मचारियों को अन्य सरकारी कर्मचारियों के समान छह महीने का मातृत्व अवकाश और 15 दिन का पितृत्व अवकाश मिल सकेगा।
यह नियम राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन (एनएचएम) में कार्यरत संविदा कर्मचारियों पर लागू होगा। इसके लिए संविदा मानव संसाधन मैनुअल 2025 को लागू किया गया है, जो 1 अप्रैल 2025 से प्रभावी होगा। इस फैसले का लाभ प्रदेश के 32 हजार संविदा कर्मचारियों को मिलेगा।
वेतन वृद्धि और अन्य लाभ
संविदा मानव संसाधन मैनुअल 2025 के तहत, अब संविदा कर्मचारियों को वेतन में हर छह महीने में वृद्धि का लाभ मिलेगा, जो महंगाई दर (आधार उपभोक्ता मूल्य सूचकांक) के अनुसार तय होगी। इसके अलावा, संविदा कर्मचारियों को हर साल अनुबंध नवीनीकरण के लिए शपथ पत्र देने की आवश्यकता नहीं होगी।
नया ट्रांसफर प्रावधान
अब तक संविदा कर्मचारियों के तबादले का कोई प्रावधान नहीं था, लेकिन 1 अप्रैल 2025 से उन्हें यह सुविधा मिलेगी। इसके लिए जिला स्वास्थ्य समितियों को अधिकार दिए जाएंगे, और एक ऑनलाइन ट्रांसफर मैनेजमेंट सिस्टम भी तैयार किया जाएगा, जिससे कर्मचारी अपना तबादला करवा सकेंगे।
कर्मचारियों की लंबे समय से चल रही मांगों का समाधान
संविदा कर्मचारियों का संगठन लंबे समय से विभिन्न मुद्दों, जैसे मातृत्व और पितृत्व अवकाश, वेतन वृद्धि और अन्य मुद्दों को लेकर सरकार से मांग कर रहा था। कर्मचारियों ने कई बार विरोध प्रदर्शन भी किए थे। संविदा स्वास्थ्य कर्मचारी संघ के अध्यक्ष विजय ठक्कर ने बताया कि उनकी 11 सूत्री मांगों में से कुछ को सरकार ने स्वीकार कर लिया है, और बाकी मुद्दों पर अधिकारियों के साथ बातचीत जारी है।