भोपाल। माध्यमिक शिक्षा मंडल (माशिमं) ने 10वीं और 12वीं बोर्ड परीक्षा के मूल्यांकन कार्य की शुरुआत कर दी है। इस बार मूल्यांकनकर्ताओं को विशेष प्रशिक्षण दिया गया है, और तीन स्तरों पर मूल्यांकन की प्रक्रिया अपनाई जा रही है। इसमें मुख्य परीक्षक, उप मुख्य परीक्षक और सामान्य परीक्षक शामिल हैं। इस संबंध में नए दिशा-निर्देश भी जारी किए गए हैं।
अगर किसी छात्र ने एक ही प्रश्न का उत्तर कई बार लिखा है, तो परीक्षक केवल एक उत्तर का मूल्यांकन करेंगे और उसी उत्तर के अंक दर्ज किए जाएंगे। इसके बाद उप मुख्य परीक्षक उत्तरपुस्तिका की पुनः जांच करेंगे ताकि किसी प्रकार की गलती न हो।
औसत मूल्यांकन पर कार्रवाई अगर किसी मूल्यांकनकर्ता ने औसत मूल्यांकन किया, तो उसके खिलाफ तत्काल कार्रवाई की जाएगी। इसके साथ ही परीक्षक द्वारा ऑनलाइन अंक भरने की प्रक्रिया की भी जांच की जाएगी। अगर अंक भरने में कोई गलती पाई जाती है तो संबंधित परीक्षक और उप मुख्य परीक्षक दोनों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी।
कुल मिलाकर, प्रदेश में लगभग 17 लाख छात्रों की 90 लाख उत्तरपुस्तिकाओं का मूल्यांकन 40,000 शिक्षकों द्वारा किया जाएगा। दूसरा चरण 21 मार्च से शुरू होगा।
ऑनलाइन अंक प्रविष्टि के बाद, शिक्षकों को एक दिन में कम से कम 30 और अधिकतम 45 उत्तरपुस्तिकाओं का मूल्यांकन करना होगा। उत्तरपुस्तिकाओं का मूल्यांकन पूरी होने के बाद, ऑनलाइन अंकों को भरना होगा।
इसके अलावा, बिना बारकोड वाले उत्तरपुस्तिकाओं को मंडल कार्यालय भेजा जाएगा, और उत्तरपुस्तिकाओं की संख्या में कोई बदलाव होने पर संबंधित अधिकारियों को सूचना दी जाएगी।
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