भारत जोड़ो यात्रा दौरान BJP के ऑपरेशन लोटस को लेकर नरोत्तम मिश्रा ने कही ये बड़ी बात

भोपाल। मध्य प्रदेश में राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा 23 नवंबर को दाखिल होने वाली है। इससे पहले प्रदेश में सियासत भी तेज हो गई है। यात्रा के दौरान ऑपरेशन लोटस की अटकलों को लेकर गृहमंत्री नरोत्तम मिश्रा ने बड़ी बात कही है। मिश्रा ने कमलनाथ का नाम लिए बिना कहा कि निश्चिंत रहिए कोई नहीं जाएगा। संभाल कर रखने की भी जरूरत नहीं है। भारतीय जनता पार्टी ऐसा नहीं कुछ नहीं करती है। उनको अज्ञात आशंका अभी तक विधायकों ने उनके साथ किया है, उसके कारण से है। और उनके नेतृत्व में अंगुली उठती है। अभी एक महीने पहले ही 17 विधायकों ने क्रास वोटिंग की है। गृहमंत्री ने कहा कि अब तक कुल 38 विधायक अलग-अलग कारण में बागी हो चुके है। उनकी चिंता स्वाभाविक है। गिनती करते रहे।

राहुल गांधी को धमकी भरा पत्र मिलने पर मिश्रा ने कहा कि सुरक्षा सरकार की जिम्मेदारी है। कोई परिंदा भी पर नहीं मार सकता। सुरक्षा की दृष्टि से मैं उनको विश्वास दिलाना चाहता हूं। हमारी प्रतिबद्धता है। मिश्रा ने सवाल पूछते हुए कहा कि ऐसी परिस्थिति या सुरक्षा में चूक जैसी बाते बाहर कैसे आ रही है। यह पैदा कहां से हो रही है। इंदौर के जिस खालसा कॉलेज में कार्यक्रम है। 10 दिन पहले स्थिति बिगाड़ने के लिए उस खालसा कार्यक्रम में कौन गया था। क्यों उनके जख्मों को हरा किया गया। सीख संगत में जाकर इस तरह के वातावरण का निर्माण क्यों किया गया। यह भी राहुल गांधी को सोचना चाहिए।

मिश्रा ने कहा कि राहुल गांधी को सोचना चाहिए कि कमलनाथ जी ने ऐसा क्यों किया। छिंदवाड़ा में मंदिर की प्रतिकृति बनाई और उसको टुकड़े टुकड़े कर दिया। गजनबी और गौरी की तरह ऐसा क्यों कर रहे है। ऐसी आवेश की स्थिति कमलनाथ पैदा क्यों कर रहे है। मिश्रा ने कहा कि मुझे लगता है कि राहुल गांधी की यात्रा कमलनाथ चाहते नहीं है।

मिश्रा ने सलकनपुर मामले में दोनों आरोपी गिरफ्तार हो गए है। माल भी बरामद हो गया। उनके पास से चोरी हुए 10 लाख 28 हजार रुपए बरामद हो गए है। दोनों आरोपियों से पुलिस पूछताछ कर रही है।

गृहमंत्री ने कहा कि अखलाक के मामले में सभी मुखर थे, दिल्ली में श्रद्धा का मर्डर करने वाले आफताब के मामले में में चुप्पी क्यों? यह तुष्टीकरण का ज्वलंत प्रमाण हैं कि SC वर्ग की बिटिया के 35 टुकड़े कर दिए लेकिन किसी को भी पीड़ा नहीं। मिश्रा ने कहा कि बाटला एनकाउंटर पर सोनिया गांधी ने खूब आंसू बहाए थे। अब किसी के मन में ना पीड़ा आई ना ही किसी ने अवॉर्ड वापस किए। प्रदेश वासियों को इस पर सोचना चाहिए।

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