भोपाल। साढ़े चार माह के बाद पेट्रोल व डीजल के दामो में बढ़ोतरी का सिलसिला एक बार फिर शुरू हो गया है। तेल कंपनियों ने 137 दिनों बाद मंगलवार को उपभोक्ताओं को बड़ा झटका देते हुए पेट्रोल-डीजल की कीमत में 80 पैसे से ज्यादा बढ़ोतरी की थी। बुधवार को भी यह सिलसिला कायम रहा और पेट्रोल डीजल के दाम बढ़ा दिए गए। भोपाल में मंगलवार को सादा पेट्रोल के दाम 88 पैसे बढ़कर 108.09 रुपये प्रति लीटर तक पहुंच गए, वहीं बुधवार को इसमें 87 पैसे की और बढ़ोतरी हुई और अब राजधानी में पेट्रोल 108.96 रुपये प्रति लीटर में मिल रहा है।
वहीं डीजल के दाम मंगलवार को 82 पैसे बढ़कर 91.68 रुपए तक पहुंच गए थे। बुधवार को इसमें 82 पैसे की और बढ़ोतरी हुई और यह 92.50 रुपये तक पहुंच गया। इस तरह दो दिन में ही पेट्रोल के दाम पौने दो रुपये और डीजल के दाम 1.64 रुपये उछल गए। दस मार्च को पांच राज्यों के चुनाव नतीजे आने के बाद से ही पेट्रोलियम के दामों में बढ़ोतरी के कयास लगाए जा रहे थे। चुनावों नतीजों के ठीक बाद न सही, लेकिन परिणाम आने के 12 दिनों बाद पेट्रोलियम के दाम में बढ़ोतरी का सिलसिला शुरू हो गया है। इससे आम उपभोक्ताओं पर महंगाई की मार बढ़ना तय है। गौरतलब है कि मंगलवार को रसोई गैस सिलिंडर के दाम भी 50 रुपये बढ़ा दिए गए थे। राजधानी भोपाल में अब 14.2 लीटर का घरेलू गैस सिलिंडर 955.50 रुपये में मिल रहा है
गौरतलब है कि रूस-यूक्रेन के बीच जारी युद्ध की वजह से अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कच्चे तेल की कीमत सातवें आसमान पर है, इसलिए भी देश में पेट्रोल और डीजल की कीमत में बढ़ोतरी हो रही है। अनुमान है कि तेल कंपनियों को प्रति लीटर 17 से 18 रुपए का घाटा हो रहा है। ऐसे में लगता यही है कि फिलहाल रोजाना पेट्रोल और डीजल की कीमतें बढ़ती रहेंगी। ऐसे में पेट्रोल-डीजल डीलर्स के अलावा आम आदमी की ओर से भी पेट्रोलियम पदार्थों पर वैट घटाने की मांग एक बार फिर जोर पकड़ सकती है।
रूस-यूक्रेन युद्ध के कारण अंतरराष्ट्रीय बाजार में ब्रेंट क्रूड ऑयल की कीमत में जबर्दस्त उछाल आया है। साथ ही रुपए की कीमत में भी गिरावट आई है। डीलरों का कहना है कि निकट भविष्य में भी पेट्रोल-डीजल की कीमतों में बढ़ोतरी हो सकती है। गौरतलब है कि सरकारी तेल कंपनियों ने 4 नवंबर के बाद से कीमतें नहीं बढ़ाई थीं। मंगलवार 22 मार्च को यह सिलसिला टूटा और अब बुधवार को भी दाम बढ़ा दिए गए।