भोपाल। मध्य प्रदेश माध्यमिक शिक्षा मंडल (MPBSE) ने इस साल की हाई स्कूल और हायर सेकंडरी परीक्षाओं के लिए कॉपी जांचने के कड़े दिशा-निर्देश जारी किए हैं। करीब 41,000 शिक्षक कॉपी जांचने का कार्य करेंगे, जबकि 10% शिक्षक रिजर्व में रखे जाएंगे। एक शिक्षक को एक दिन में अधिकतम 45 कॉपियां जांचने की अनुमति होगी, जिसमें 30 कॉपियां पहले से निर्धारित होंगी और अतिरिक्त 15 कॉपियां दी जाएंगी।
परीक्षा सामग्री पर भुगतान और जुर्माना
मंडल ने तय किया है कि 10वीं की कॉपी के लिए प्रति कॉपी 15 रुपये और 12वीं की कॉपी के लिए 16 रुपये का भुगतान किया जाएगा। इसके साथ ही, यदि कोई शिक्षक कॉपी जांचने में लापरवाही करता है, तो उस पर 100 रुपये का जुर्माना लगाया जाएगा।
सीसीटीवी और जैमर की व्यवस्था
इस बार केवल मूल्यांकन केंद्रों पर ही सीसीटीवी कैमरे लगाए जाएंगे, जिनकी निरंतर निगरानी की जाएगी। परीक्षा केंद्रों पर सीसीटीवी की व्यवस्था नहीं की जाएगी। इसके अलावा, 200 संवेदनशील और अतिसंवेदनशील केंद्रों पर जैमर लगाए जाएंगे, जबकि अन्य केंद्रों पर जैमर की जरूरत नहीं है।
90% से अधिक अंक वाली कॉपियों की पुन जांच
माशिमं ने यह निर्देश दिया है कि जिन छात्रों के 90% से अधिक अंक होंगे, उनकी कॉपियों की पुन जांच की जाएगी। यह जांच मुख्य परीक्षक, उप मुख्य परीक्षक और संबंधित विषय शिक्षक द्वारा की जाएगी।
मॉडल आंसर के आधार पर मूल्यांकन
कॉपी जांचने के दौरान शिक्षकों को मॉडल आंसर शीट दी जाएगी, जिसके आधार पर वे छात्रों के उत्तरों का मूल्यांकन करेंगे। इसके साथ ही, नंबरों का टोटल कम से कम दो-तीन बार जांचने का निर्देश दिया गया है ताकि कोई गलती न हो। अगर कोई छात्र किसी प्रश्न का आंशिक उत्तर देता है, तो उसे आधे अंक दिए जा सकते हैं।
मंडल का मानना है कि इन सख्त नियमों से परीक्षा प्रक्रिया में पारदर्शिता बढ़ेगी और छात्रों को उनके वास्तविक अंक मिलेंगे।