छतरपुर। छतरपुर में शनिवार को दिलचस्प नजारा देखनो को मिला। यहां एक दुल्हन हाथों पर मेहंदी रचाए मंडप में दूल्हे के इंतजार में बैठी रही। उसका दूल्हा 3 घंटे बाद आया और फिर वरमाला डालकर 7 फेरे लिए। इसकी वजह थी दसवीं की परीक्षा का पेपर। दूल्हा शादी के ठीक पहले परीक्षा देने गया था। उसने उसके बाद ही नए जीवन की शुरुआत की।
गौरतलब है कि छतरपुर के कल्याण मंडपम में बुंदेलखंड परिवार ने सामूहिक विवाह सम्मेलन का आयोजन किया था। यहां एक साथ 11 जोड़ों की शादियां होनी थीं। इन्हीं एक जोड़ा था रामजी सेन और प्रीति सेन का। रामजी की उम्र 21 साल और प्रीति की उम्र 19 साल थी। इस बीच रामजी परीक्षा देने मंडप छोड़कर चला गया। प्रीति भी स्टेज पर बैठी उसका इंतजार करने लगी।इसे लेकर रामजी सेन ने कहा कि उसकी 10वीं की परीक्षा और शादी एक साथ थी। लेकिन मैंने जिसके लिए सालभर मेहनत की उसे पूरा करना जरूरी था। मैंने पेपर दिया है और मुझे बेहतर परिणाम की भी उम्मीद है।आज जीवन की दो परीक्षाएं हुईं। एक पढ़ाई की, दूसरी जिंदगी की।
वहीं, दुल्हन प्रीति सेन ने कहा कि मैंने मंडप में तीन घंटे दूल्हे का इंतजार किया, क्योंकि उसकी 10वीं की परीक्षा थी। पति ने जो कदम उठाया, वह उसके अच्छे भविष्य के लिए बेहतर है। गौर करने लायक बात ये भी है कि इस इंतजार पर दोनों पक्षों को कोई आपत्ति नहीं हुई। दोनों पक्षों का कहना था कि जो उनके बेटे ने साल भर मेहनत की है तो उसके बेहतर परिणाम के लिए पेपर देना जरूरी था।