नर्मदापुरम। पचमढ़ी में जामा मस्जिद के पूर्व पेश इमाम ने दूसरी बीवी को चिट्ठी लिखकर तलाक दे दिया। 53 साल के इमाम से 32 साल छोटी पत्नी ने पचमढ़ी थाने के अलावा कलेक्टर और SP से शिकायत की है। 21 साल की पत्नी इमाम से तालीम लेने जाती थी। हाफिज हफीजुर्रहमान ने मेरी जिंदगी बर्बाद कर दी। वह मुझ पर बुरी नजर रखते थे। उनके बच्चों की उम्र मेरे बराबर है। उन्होंने मदरसे का प्रिंसिपल बनाने का लालच देकर शादी करने की बात कही थी। मना किया तो बदनामी का डर दिखाकर नवंबर 2020 में मुझसे शादी कर ली। पति हाफिज हफीजुर्रहमान और उनकी बेटी मेरे साथ बुरा व्यवहार करते थे। मेरा मोबाइल भी उनके पास था। मुझसे आए दिन मारपीट करते थे। कहते थे अपने पापा के यहां से दो लाख रुपए लेकर। पहले मुझे तीन बार तलाक कह दिया। मैं मालेगांव पढ़ाई के लिए चली गई। पिछले महीने वापस लौटी तो मुझे अलग कमरे में बंद रखा। 16 अप्रैल को सादे कागज पर तलाक दे दिया। मैंने 2 अप्रैल को फांसी लगाने की कोशिश की।
हाफिज हफीजुर्रहमान ने गुपचुप तरीके से पीड़िता के साथ निकाह कर लिया। इस पर कमेटी ने पेश इमाम और शहर काजी के पद से हटाया दिया था। हाफिज हफीजुर्रहान ने लिखित में माफी मांगी, तब कमेटी ने वापस नियुक्त कर दिया, लेकिन, पत्नी को सादे कागज पर तलाक देने के बाद कमेटी ने फिर से पद से हटा दिया है। मस्जिद में दूसरे इमाम को नियुक्त कर दिया गया है। नर्मदापुरम SP डॉक्टर गुरकरन सिंह ने बताया कि मामले की जांच कर रहे हैं। पति पर वैधानिक कार्रवाई कर केस दर्ज होगा।
मेरा निकाह तकरीबन डेढ़ साल पहले हुआ था। ये मेरा दूसरा निकाह था। मेरी पहली बीवी का इंतेकाल (निधन) हो चुका है। उससे बच्चे हैं, जिससे दूसरी बीवी का सख्त इख्तिलाफ (अनबन) रहता है। साथ रहना बहुत मुश्किल हो रहा है। इसलिए मैं तलाक देता हूं।