इंदौर। मध्य प्रदेश में भाजपा के जिलाध्यक्षों के चयन का मामला अब तक उलझा हुआ है। मंगलवार तक यह उम्मीद थी कि देर रात तक जिलाध्यक्षों की सूची जारी हो जाएगी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ और जानकारी मिली कि कुछ बड़े जिलों को लेकर मामला अभी भी सुलझा नहीं है। खबर है कि अब जिलाध्यक्षों के नाम दिल्ली से ही तय किए जाएंगे। बीजेपी के संगठन महामंत्री और प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा दिल्ली रवाना हो गए हैं, जहां वे राष्ट्रीय संगठन महासचिव बीएल संतोष से मुलाकात करेंगे। माना जा रहा है कि दिल्ली में चर्चा के बाद ही जिलाध्यक्षों के नामों का ऐलान हो सकता है।
मध्य प्रदेश के वरिष्ठ नेताओं के बीच असहमति का मामला
सूत्रों के अनुसार, अधिकांश जिलों के अध्यक्ष तय हो चुके हैं, लेकिन कुछ बड़े जिलों में वरिष्ठ नेताओं के बीच असहमति सामने आई है। हर नेता अपने समर्थकों को जिलाध्यक्ष बनवाने के लिए पूरा जोर लगा रहा है। संघ द्वारा सुझाए गए नामों पर भी सहमति नहीं बन पाई, जिस कारण जिलाध्यक्षों के चयन का मामला उलझ गया है। इसके चलते सीनियर नेता दिल्ली पहुंचे हैं।
उलझे हुए जिले
– भोपाल
– इंदौर
– ग्वालियर
– सागर
– रीवा
– नरसिंहपुर
दरअसल, ग्वालियर अंचल में केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया और विधानसभा अध्यक्ष नरेंद्र सिंह तोमर के समर्थकों के बीच असहमति है, जबकि इंदौर में कैलाश विजयवर्गीय और अन्य नेताओं के बीच मतभेद हैं। सागर जिले में तीन अलग-अलग खेमें हैं, जिसमें पूर्व मंत्री गोपाल भार्गव और भूपेंद्र सिंह का दबाव है, वहीं मंत्री गोविंद सिंह राजपूत और विधायक शैलेंद्र जैन भी अपनी दावेदारी पेश कर रहे हैं। रीवा और विंध्य में भी कुछ जिलों में स्थिति जटिल है, यहां से डिप्टी सीएम राजेंद्र शुक्ला आते हैं। ग्रामीण इलाकों में स्थिति स्पष्ट है, लेकिन शहरी क्षेत्रों में सत्ता और संगठन के बीच समन्वय की कमी है।
दिल्ली से फाइनल होगी लिस्ट
सूत्रों के अनुसार, बीजेपी के राष्ट्रीय संगठन महासचिव बीएल संतोष ने संगठन महामंत्री हितानंद शर्मा और प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा को दिल्ली बुलाया है, साथ ही मध्य प्रदेश बीजेपी की प्रदेश संगठन चुनाव टीम भी दिल्ली पहुंच रही है। यहां सभी की मुलाकात बीएल संतोष से होगी और बुधवार को बैठक के बाद जिलाध्यक्षों के नामों की सूची फाइनल हो सकती है। इस दौरान भोपाल और इंदौर जैसे कुछ जिलों को दो हिस्सों में बांटने पर भी चर्चा हो सकती है।