दमोह। दमोह में एक शवयात्रा के दौरान अचानक भगदड़ मच गई। लोग शोक संतप्त होकर शव को अंतिम संस्कार के लिए ले जा रहे थे, लेकिन जैसे ही शवयात्रा में शामिल लोगों पर संकट आया, वे अर्थी को जमीन पर रखकर भाग गए। इसके बाद शव करीब 40 मिनट तक अकेला पड़ा रहा, और श्मशान घाट तक ले जाने के लिए किसी ने उसकी देखभाल नहीं की। ऐसा हुआ कि मधुमक्खियों ने शव यात्रा में शामिल लोगों पर हमला कर दिया।
घटनाक्रम की पूरी जानकारी
दमोह के असाटी वार्ड की निवासी शकुंतला रैकवार का निधन हुआ था, और उनकी शवयात्रा हटा नाका मुक्ति धाम के लिए निकाली जा रही थी। जब शव यात्रा फुटेरा तालाब के पास विश्राम घाट पर पहुंची, तो वहां मृतिका के परिजन मुंडन रश्म कर रहे थे। अचानक अफरातफरी मच गई और लोग चीखते हुए भागने लगे। देखा गया कि लोगों के शरीर पर मधुमक्खियां चिपकी हुई थीं।
सैकड़ों लोग मधुमक्खियों के हमले से बचने के लिए वहां से भागे, और शकुंतला के परिजन भी अपनी जान बचाने के लिए भागे। इस दौरान शव अकेला जमीन पर पड़ा रहा। लगभग 40 मिनट बाद मधुमक्खियों का हमला कम हुआ, तब कुछ लोगों ने शव को उठाया और श्मशान घाट तक ले गए, जहां उसका अंतिम संस्कार हुआ।
मरघट तक नहीं पहुंचे लोग
मधुमक्खियों के हमले में लगभग सौ लोग घायल हो गए, लेकिन उनमें से चार-पांच लोग गंभीर रूप से घायल हुए। बाकी लोग मामूली रूप से घायल हुए हैं, और सभी की हालत सामान्य है। इस घटना ने लोगों में दहशत का माहौल बना दिया। जो लोग शव यात्रा में श्रद्धा से शामिल हुए थे, वे अंतिम संस्कार में भी शामिल नहीं हो सके।