कवर्धा। जिले के भोरमदेव अभ्यारण क्षेत्र के करियाआमा गांव के पास जंगल में तेंदूपत्ता तोड़ने गए एक ग्रामीण पर दो भालू ने हमला कर दिया। ग्रामीण की आवाज सुनकर अन्य साथियों ने भालूओं से ग्रामीण को बचाया। भालुओं के हमला से ग्रामीण पंचराम बैगा बुरी तरह घायल हो गया। ग्रामीण के सिर, हाथ- पैर में गंभीर जख्म आई है। अन्य साथियों ने ग्रामीण को कंधे में उठाकर पहले जंगल से बहार निकले और 108 एंबुलेंस को सूचना दी।सूचना मिलते ही 108 एंबुलेंस की टीम घटनास्थल पहुंची और घायल व्यक्ति को कवर्धा जिला अस्पताल में लाकर भर्ती कराया है, जहां उसका इलाज जारी है। घायल की हालत नाजुक बताई जा रही है।
सूचना मिलते ही वन विभाग के कर्मचारी जिला अस्पताल पहुंचे और घायल से घटना की जानकारी ली और वन अधिनियम के तहत घायल को तत्काल सहायता राशि दिया गया एवं इलाज के उपरांत मिलने वाली 50 हजार रुपए की राशि को संबंध में घायल के परिजनों को बताया।
कवर्धा जिला वनों से घिरा हुआ है।और वनों के आसपास रहने वाले ग्रामीण वन संपदा जैसे तेंदूपत्ता, लासा, चार बीच समेत विभिन्न चीजों को जंगल से बिनकर लागे वन विभाग व बाजार में विक्रय कर अपना जीवन यापन करते हैं। इन दिनों तेंदूपत्ता का सीजन चल रहा है। कवर्धा जिले में प्रदेश भर में सबसे अधिक तेंदूपत्ता की खरीद वन विभाग करती है। बड़ी संख्या में ग्रामीण तेंदूपत्ता तोड़ने जंगल जाते हैं। कई बार ग्रामीणों का सामना जंगली जानवरों से भी हो जाता है लेकिन भीड़ में रहने के कारण जंगली जानवर वहां से भाग जाते हैं। लेकिन किसी ग्रामीण को अकेले पाने पर हमला भी कर देते हैं। हर वर्ष एक दो मामले सामने आते हैं। यही करण तेंदूपत्ता सीजन से पहले ग्रामीणों को जंगली जानवर का सामना होने पर बचने के लिए ट्रेनिंग दी जाती है, लेकिन बीते कई वर्षों से ग्रामीणों की ट्रेनिंग नहीं दिया जा रहा है। यही कारण है जानवरों द्वारा ग्रामीणों पर हमला की घटना समाने आ रही है।
वन मंडल अधिकारी चुड़ांमणी सिंह ने बताया की आज भोरमदेव अभ्यारण के करियाआमा गांव के पास जंगल में तेंदूपत्ता तोड़ने गए ग्रामीण पर भालू ने हमला कर दिया। जिससे ग्रामीण घायल हो गया है। वनकर्मी घायल से मिलने अस्पताल गया था और मुआवजा के संबंध में घायल के परिजनों को अवगत कराया गया है।