मध्यप्रदेश में कोरोना की रफ्तार नहीं थम रही है। बड़े शहराें का हाल ज्यादा खराब है। ग्वालियर और जबलपुर में 5-5 हजार से ज्यादा एक्टिव केस हो गए हैं। भोपाल और इंदौर में यह संख्या 10-10 हजार से ज्यादा है। 24 घंटे में इन चारों बड़े शहरों में 5,152 नए संक्रमित मिले हैं और 25 मरीजों की मौत हुई है। भोपाल में सबसे ज्यादा 1,669 नए केस आए हैं, जबकि इंदौर-जबलपुर में सबसे ज्यादा 7-7 की मौत हुई है। इंदौर में बिगड़ती स्थिति को देखते हुए लॉकडाउन 30 अप्रैल तक बढ़ाया जा सकता है।
इस बीच थोड़ी राहत की बात ये है कि खंडवा, बुरहानपुर, देवास और छिंदवाड़ा में संक्रमण की दर घटने लगी है। यहां नए केस तेजी से घट रहे हैं। खंडवा में पॉजिटिविटी रेट 4.6% हो गया है। महाराष्ट्र बॉर्डर पर होने के बाद भी बुरहानपुर में कोरोना पर कंट्रोल हुआ है। यहां पॉजिटिविटी रेट 4.90% है। छिंदवाड़ा जिले में पॉजिटिविटी रेट 9.73% रह गया है, जो पहले काफी ज्यादा था। देवास में पॉजिटिविटी रेट 6.91% पर आ गई है।
भोपाल में लगातार दूसरे दिन इंदौर के मुकाबले ज्यादा मरीज सामने आए। 24 घंटे के अंदर 1,669 नए केस आए और 6 लोगों की मौत हुई। हालांकि श्मशान घाटों पर 118 शव पहुंचे थे, जिनका कोरोना प्रोटोकॉल से अंतिम संस्कार किया गया। कोरोना की दूसरी लहर से भोपाल में हालात ज्यादा खराब हैं। सरकारी आंकड़ों में सिंतबर की तुलना में यहां मौतें कम दर्ज हैं, लेकिन संक्रमण की रफ्तार पहली लहर की तुलना में 6 गुना ज्यादा है। सितंबर के 15 दिनों में भोपाल में 2,788 संक्रमित मिले थे, लेकिन अप्रैल में अब तक 14,413 पॉजिटिव मिल चुके हैं।
इंदौर में कोरोना की स्थिति जस की तस बनी हुई है। यहां 24 घंटे में 1,656 नए केस आए, जबकि 7 लोगों की जान गई। एक्टिव केस 10 हजार से ज्यादा हैं। यहां अब तक कुल 87,625 संक्रमित मिल चुके हैं और 1,040 लोगों की मौत हुई है। संक्रमण की मौजूदा स्थिति को देखते हुए लॉकडाउन 30 अप्रैल तक बढ़ाया जा सकता है। जिले की क्राइसिस मैनेजमेंट कमेटी की बैठक में इस पर चर्चा हुई है। कमेटी के सदस्यों के मुताबिक जनता की तरफ से लॉकडाउन बढ़ाने का फीडबैक आया है। अभी लॉकडाउन 19 अप्रैल तक है।