16.8 C
Bhopal
Wednesday, November 20, 2024

बच्चो को हो रही MIS-C नामक बीमारी, कोरोना से ठीक हुए परिजनों को हे ज्यादा खतरा 

Must read

कोरोना की दूसरी लहर कमजोर पड़ते ही अब तीसरी लहर आने का अनुमान हैं। एक्सपर्ट्स कह रहे हैं कि अगस्त-सितंबर के बीच तीसरी लहर आ सकती है। तब तक बच्चों को वैक्सीन नहीं लगी होगी, लिहाजा वही सबसे अनसेफ होंगे और खतरे में भी। पर इससे पहले, कोरोना से रिकवर हो चुके बच्चों में एक नई बीमारी दिख रही है। ये उन बच्चों को हो रही है जिनमें कोरोना के माइल्ड सिम्प्टम्स थे।

इस बीमारी का नाम मल्टीसिस्टम इंफ्लेमेटरी सिंड्रोम (MIS-C) है। हाल ही में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने राज्यों को कहा है कि वो MIS-C के मामलों पर नजर रखें। इससे निपटने के लिए इंतजाम करें। मई के आखिरी दो हफ्तों में इस बीमारी के मामले सामने आने शुरू हुए थे।MIS-C एक तरह की पोस्ट कोविड बीमारी है। ये सिर्फ 19 साल से कम के किशोरों और बच्चों में होती है। इस बीमारी से जुड़े कॉम्प्लिकेशंस कोरोना होने के 2 से 6 हफ्ते बाद सामने आते हैं। इससे पीड़ित बच्चे को बुखार के साथ शरीर के अलग-अलग हिस्सों में सूजन की शिकायत होती है।

इसके साथ ही फेफड़े, किडनी, दिल, आंतों, ब्लड के सिस्टम, त्वचा, आंख और मस्तिष्क में भी सूजन हो सकती है। आमतौर पर MIS-C के मरीज को दो या दो से ज्यादा अंगों में सूजन की शिकायत होती है। देश में आए ज्यादातर मामलों में बच्चों को बुखार के साथ आंख लाल होने और उसमें सूजन की शिकायत रही है।

भारत में इस तरह का कोई सेंट्रलाइज डेटा नहीं है। हालांकि अलग-अलग राज्यों में इस तरह के मामले सामने आ रहे हैं। विशाखापट्‌टनम, एर्नाकुलम समेत देश के कई और शहरों में इस तरह के केस आए हैं। वहीं, दुनियाभर में हुई स्टडीज बताती हैं कि इस पोस्ट कोविड इन्फेक्शन से 0.15 से 0.2% बच्चे प्रभावित हुए हैं। यानी कोरोना संक्रमित 1000 में एक या दो बच्चों में ये बीमारी होती है। वैसे ज्यादातर बच्चों में कोरोना के गंभीर लक्षण नहीं होते हैं, लेकिन ये बीमारी एसिम्प्टोमेटिक और माइल्ड लक्षण वाले बच्चों को भी हो सकती है।

ये बीमारी शरीर के कई अंगों में सूजन पैदा करती है। इसका सबसे ज्यादा असर हार्ट कोरोनरी पर पड़ता है। पांच साल या उससे कम उम्र के बच्चों में होने वाली कावासाकी बीमारी के जैसे ही इसके भी लक्षण होते हैं। हालांकि ये बीमारी 19 साल तक के बच्चों में हो सकती है।MIS-C के लक्षण हर बच्चे के लिए एक जैसे नहीं होते हैं। आमतौर पर बच्चे को तीन दिन से ज्यादा समय तक हाई फीवर की शिकायत हो सकती है। इसके साथ ही पेट दर्द, डायरिया, उल्टी होना, शरीर पर चकत्ते पड़ना, आंखें लाल होना, हाथ-पैर में सूजन, सांस लेने में तकलीफ होना, सुस्ती होना, लो ब्लड प्रेशर जैसी शिकायतें भी हो सकती हैं। WHO के मुताबिक अगर किसी बच्चे को तीन दिन से ज्यादा बुखार के साथ इनमें से कोई दो लक्षण और हैं तो उसे MIS-C हो सकता है।

 

More articles

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

Latest News

error: Content is protected !!