उज्जैन। विश्व प्रसिद्ध ज्योतिर्लिंग महाकाल मंदिर में महाशिवरात्रि को लेकर तैयारियां शुरू हो गई हैं। मंदिर के आसपास के ढाई किलोमीटर लंबे मार्ग पर बैरिकेड्स लगाए जा रहे हैं, ताकि भक्तों को कोई परेशानी न हो। धूप से बचाव के लिए मार्ग में मैट बिछाई जाएगी और छांव प्रदान करने के लिए शामियाने भी लगाए जाएंगे। इसके साथ ही, पेयजल, शौचालय और अन्य जरूरी सुविधाएं भी उपलब्ध कराई जाएंगी।
महाशिवरात्रि पर महाकाल मंदिर में लगातार 44 घंटे मंदिर के पट खुले रहेंगे और गर्भगृह में पूजा-अर्चना का दौर चलता रहेगा। इस दौरान दर्शन का सिलसिला भी निरंतर जारी रहेगा। मंदिर प्रशासन के अनुसार, 25-26 फरवरी की रात 2:30 बजे मंदिर के पट खुलेंगे, जिसके बाद भगवान महाकाल की भस्म आरती होगी। इस समय से सामान्य भक्तों के लिए चलायमान व्यवस्था के तहत दर्शन शुरू हो जाएंगे।
सामान्य दर्शनार्थियों के लिए मार्ग
सामान्य दर्शनार्थियों को कर्कराज मंदिर पार्किंग से भील समाज की धर्मशाला, गौंड बस्ती होते हुए चारधाम मंदिर के सामने से शक्तिपथ, महाकाल महालोक, मानसरोवर फैसिलिटी सेंटर के रास्ते महाकाल टनल से गणेश और कार्तिकेय मंडपम होते हुए भगवान महाकाल के दर्शन कराए जाएंगे।
भक्तों की सुविधा के लिए व्यवस्थाएं
भक्तों की सुविधाओं के लिए मार्ग में व्यापक इंतजाम किए जा रहे हैं। पार्किंग और दर्शन मार्गों की जानकारी के लिए संपूर्ण मार्ग पर सूचना संकेतक बोर्ड लगाए जाएंगे। इसके अलावा, खोयापाया केंद्र, पूछताछ केंद्र और लड्डू प्रसाद काउंटर भी स्थापित किए जाएंगे।
प्रशासन को भी ध्यान रखना चाहिए
भक्तों की सुविधाओं के साथ-साथ प्रशासन को सामान्य दर्शन मार्ग पर खुले पड़े चेंबर और नालियों की ओर भी ध्यान देना चाहिए, क्योंकि यह स्थिति दुर्घटनाओं का कारण बन सकती है। इनका समय रहते संधारण करना आवश्यक है।
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